भारत में पहली यात्री रेलगाड़ी 16 अप्रैल, 1853 को मुंबई (बॉम्बे) और ठाणे के बीच 34 किलोमीटर की दूरी तय करते हुए चलाई गई थी। यह ऐतिहासिक घटना लॉर्ड डलहौजी के कार्यकाल में घटी, जिन्होंने भारत में रेलवे के विस्तार की नींव रखी, जिसका उद्देश्य साम्राज्यवादी नियंत्रण के साथ-साथ आर्थिक विकास को बढ़ावा देना भी था। आज भारतीय रेलवे देश की जीवनरेखा है, जो लाखों यात्रियों और माल की ढुलाई करती है, और देश के परिवहन तंत्र के विकास में एक महत्वपूर्ण स्तंभ बनी हुई है।
भारत में शहरों के आकार में भारी अंतर है, जहाँ मुंबई जैसे विशाल महानगरों के साथ-साथ कई छोटे शहर भी मौजूद हैं। यह अंतर जनसंख्या वृद्धि, औद्योगिक विकास, व्यापारिक गतिविधियाँ, भौगोलिक स्थिति और ऐतिहासिक कारणों जैसे कई कारकों से प्रभावित है। मुंबई का विकास औद्योगिक क्रांति, व्यापार और बंदरगाह सुविधाओं से हुआ, जबकि छोटे शहरों का विकास सीमित संसाधनों और आर्थिक अवसरों से प्रभावित रहा।